Saturday, July 26, 2014

सुप्रभात मित्रवर। 27-07-2014

सुप्रभात मित्रवर।
27-07-2014

जब अधंकार गहराया हो
भोर दिखाई देती न हो
तब तुम आना मेरे पास प्रिये
छण दो विश्राम कर फिर बढ़ जाना प्रिये।

पर्वत श्रृंखला अपने देश की सर्वोपरि हैं
हरी भरी नदियों की जन्म स्थान बनी हुई हैं
शुभ्र धवल हिम यहां बसती है
बयार बंसती बहती है।

मैं जब जब भटका हूँ
राह नयी मुझे यहाँ मिली है।

रविवार की भोर आप सभी मित्रों को आनंदित करे, इसी कामना के साथ। शुभ दिन।
 — withPuneet Chowdhary.
Photo: सुप्रभात मित्रवर।

जब अधंकार गहराया हो
भोर दिखाई देती न हो
तब तुम आना मेरे पास प्रिये
छण दो विश्राम कर फिर बढ़ जाना प्रिये।

पर्वत श्रृंखला अपने देश की सर्वोपरि हैं
हरी भरी नदियों की जन्म स्थान बनी हुई हैं
शुभ्र धवल हिम यहां बसती है
बयार बंसती बहती है।

मैं जब जब भटका हूँ
राह नयी मुझे यहाँ मिली है।

रविवार की भोर आप सभी मित्रों को आनंदित करे, इसी कामना के साथ। शुभ दिन।
  • Harihar Singh शुभ प्रभात राधे राधे जीSee Translation
    6 hours ago · Unlike · 1
  • Deobansh Dubey सुमंगल प्रभात।
    4 hours ago · Unlike · 1
  • Rajan Varma 'मै जब भटका हूँ , राह नय़ी मुझे यहाँ मिली है'- विकल्प हर स्थिति में होता ही है- आवश्यक्ता होती है तो सिर्फ़ संयम अौर विवेक की- सही विकल्प का चुनाव करने के लिये; अौर संयम/वेवेक की सद्‌बु्द्धि परमात्मा हमें प्रदान करें इस प्रार्थना के साथ सभी मित्रों को राधे-राधे
    4 hours ago · Unlike · 3
  • Suresh Chadha Suprabhat sabi miter jan ko .
    2 hours ago · Unlike · 1
  • BN Pandey PRABHU APANE UNHI BHAKTO KO SAHI RAAH DIKHATAA HAI JO PARAM PITAA PARMESHWAR KO HI APANAA PRAAPTAVY MAAN KER UNKI PRAAPTI KE LIYE AAWASHYAKTAA KA ANUBHAV KARATAA HAI............JAI SHRI RAADHE
  • Arun Kumar Singh Good morning....Sir

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