Monday, December 1, 2014

शहर छूट जाए


कलम से______

"शहर छूट जाए तो कोई बात नहीं,
गांव से नाता न तोड़ना तुम,
दूसरा पता दर्ज करने में कई पुश्त निकल जाती हैं !!!"

हमारे मित्र श्री राम सरन सिंह जी आज अपने गाँव में हैं। यह चंद अल्फाज उनके गाँव जाने के शुभ अवसर पर।
//सुरेन्द्रपालसिंह © 2014//
— with Ram Saran Singh.
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